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2 forms found in the DOMGET https://telenyay.site/
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Skip to content TELE-NYAY Awareness Programme * Awareness * welcome govt. services * Awareness * welcome govt. services WELCOME SERVICES चाणक्य के अनुसार न्यायधीश को निष्पक्ष होकर न्याय करना चाहिए। भावार्थ: किसी न्यायाधीश को न्याय करते समय किसी पूर्वाग्रह अथवा शत्रुता के वशीभूत होकर अपराधी को दंड नहीं देना चाहिए अन्यथा जनता उसकी निंदा करने से नहीं चूकती। 1. पंचायत/नगर/शहर के लिए - मजबूत विपक्ष वार्षिक पाँच सदस्यीय जनप्रतिनिधि की व्यवस्था होनी [...] Read More । ।श्री गणेशाय नमः। । चाणक्य के अनुसार न्यायधीश को निष्पक्ष होकर न्याय करना चाहिए। भावार्थ: किसी न्यायाधीश को न्याय करते समय किसी पूर्वाग्रह अथवा शत्रुता के वशीभूत होकर अपराधी को दंड नहीं देना चाहिए अन्यथा जनता उसकी निंदा करने से नहीं चूकती। 1. पंचायत/नगर/शहर के लिए - मजबूत विपक्ष वार्षिक पाँच सदस्यीय जनप्रतिनिधि की व्यवस्था होनी [...] Read More WELCOME SERVICES चाणक्य के अनुसार न्यायधीश को निष्पक्ष होकर न्याय करना चाहिए। भावार्थ: किसी न्यायाधीश को न्याय करते समय किसी पूर्वाग्रह अथवा शत्रुता के वशीभूत होकर अपराधी को दंड नहीं देना चाहिए अन्यथा जनता उसकी निंदा करने से नहीं चूकती। 1. पंचायत/नगर/शहर के लिए - मजबूत विपक्ष वार्षिक पाँच सदस्यीय जनप्रतिनिधि की व्यवस्था होनी [...] Read More । ।श्री गणेशाय नमः। । चाणक्य के अनुसार न्यायधीश को निष्पक्ष होकर न्याय करना चाहिए। भावार्थ: किसी न्यायाधीश को न्याय करते समय किसी पूर्वाग्रह अथवा शत्रुता के वशीभूत होकर अपराधी को दंड नहीं देना चाहिए अन्यथा जनता उसकी निंदा करने से नहीं चूकती। 1. पंचायत/नगर/शहर के लिए - मजबूत विपक्ष वार्षिक पाँच सदस्यीय जनप्रतिनिधि की व्यवस्था होनी [...] Read More AWARENESS चाणक्य के अनुसार न्यायधीश को निष्पक्ष होकर न्याय करना चाहिए। भावार्थ: किसी न्यायाधीश को न्याय करते समय किसी पूर्वाग्रह अथवा शत्रुता के वशीभूत होकर अपराधी को दंड नहीं देना चाहिए अन्यथा जनता उसकी निंदा करने से नहीं चूकती। 1. पंचायत/नगर/शहर के लिए – मजबूत विपक्ष वार्षिक पाँच सदस्यीय जनप्रतिनिधि की व्यवस्था होनी चाहिए जैसे – सरकार चलाने के लिए मजबूत विपक्ष की आवश्यकता होती है। 2. वार्ड के लिए – मजबूत विपक्ष दो वर्षीय तीन सदस्यीय जनप्रतिनिधि की व्यवस्था होनी चाहिए जैसे – सरकार चलाने के लिए मजबूत विपक्ष की आवश्यकता होती है। 3. गाँव –अन्य वार्ड के द्वारा मनोनीत प्रतिनिधि, अपने वार्ड के सदस्य की उपस्थिति में , प्रतिनिधि को न्यायकर्ता मनोनीत किया जा सकता है , न्याय प्रक्रिया पूरी की जा सकती है। 4. सामुदायिक कलह के लिए –दूसरे जगह के समुदाय पदाधिकारियों द्वारा चयनित प्रतिनिधियों को न्याय के लिए न्यायकर्ता मनोनीत करना होता है. 5. पारिवारिक झगड़ा –परिवार में होने वाले झगड़े को सुलह करने के लिए घर के बेटी पक्ष यानि बेटी के पति को न्यायधीश मानकर झगड़ा ख़त्म किया जा सकता है। न्याय कार्य का आधार है और कार्य ही जीवन है। एक न्यायकर्ता में ये तीन गुण तो होने ही चाहिए , a. ज्ञान, b. बल , c. निःस्वार्थता …। 1. CPGRAMS 2. TELE-LAW 3. RTI Online 4. VEGILANT INDIA 5. SANCHAR SATHI 6. AFFIDAVITS 7. जनप्रतिनिधि महाभारत – दो न्याय अगर तो आधा दो पर इसमें भी अगर बाधा हो तो दे दो केवल पांच ग्राम रखो तुम अपनी धरती तमाम . महाभारत में सबका निर्णय व्यक्तिगत था जैसे भीष्म का निर्णय/प्रतिज्ञा व्यक्तिगत हीत के लिए था । जबकि रामायण में सभी पात्र दूसरे के हीत के लिए कार्य/ निर्णय /प्रतिज्ञा/कर रहे थे। ARCHIVES * February 2024 CATEGORIES * Blog Search Search RECENT POSTS * । ।श्री गणेशाय नमः। । * Welcome Services RECENT COMMENTS 1. A WordPress Commenter on Welcome Services * Awareness * welcome govt. services Copyright ©2024 Tele-Nyay . All rights reserved. Powered by WordPress & Designed by Bizberg Themes